अयोध्या दीपोत्सव-श्रीराम की जीवनलीला को सजीव करेंगे 120 विदेशी कलाकार

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प्रभु राम की आकृति उकेरने का काम शुरू

11 हजार दीए से जगमगाएगा मवई का हरचनपुर धाम

अयोध्या। अयोध्या दीपोत्सव में इस बार राम की पैड़ी से इतर शहर के अन्य धार्मिक स्थलों व स्कूलों में 3.06 लाख दीप जलाए जाएंगे। इसमें से सबसे ज्यादा दीप एक लाख दीप श्रीराम जन्मभूमि मंदिर में जलाए जाएंगे। यह जानकारी देते हुए जिलाधिकारी नितीश कुमार ने कहा कि धार्मिक स्थलों के लिए 21 अक्टूबर और विद्यालयों के लिए जीजीआईसी में 20 अक्टूबर को दीपोत्सव संबंधी सामग्री उपलब्ध करा दी जाएगी।

बताया कि  कनक भवन में 10 हजार, हनुमानगढ़ी व सुग्रीव किला/पर्वत में 5-5 हजार, मणि पर्वत पर 2 हजार, राम बल्लभ कुंज व बड़ा जानकी घाट में 6-6 हजार, बड़ा भक्त माल रामघाट व मणि राम छावनी में 8-8 हजार, राज सदन व लक्ष्मण किला में 5-5 हजार, अशर्फी भवन में 4 हजार, दशरथ महल बड़ी जगह व श्रीराम मन्त्रार्थ मण्डपम में 8-8 हजार, भरतकुण्ड में 25 हजार, दिगम्बर अखाड़ा में 3 हजार, राजा दशरथ की समाधि स्थल में 10 हजार, गिरिजाकुण्ड में 2 हजार, राम कचहरी में 3 हजार, गुप्तारघाट में 20 हजार, मुण्डा शिवाला नयाघाट में 2 हजार, करतलिया बाबा मंदिर नयाघाट पर 2 हजार, राधा कृष्ण मंदिर टेढ़ीबाजार में 2 हजार, पत्थर मंदिर अयोध्या में 2 हजार, चित्रगुप्त मंदिर में 2 हजार, हनुमान गुफा मंदिर में 2 हजार, छोटी देवकाली मंदिर में 2 हजार

बड़ी देवकाल मंदिर में 4 हजार, श्री सांई मंदिर चैदह कोसी अयोध्या में 2 हजार, रंग महल मंदिर में 2 हजार, राजा राज रत्न सिंहासन मंदिर में 2 हजार, शिव मंदिर रामघाट में 2 हजार, जालपा मंदिर में 2 हजार, अष्टभुजा माता मंदिर में 5 हजार, विभीषण कुण्ड में 3 हजार, सरयू लेवशशि हनुमान मंदिर में 2 हजार, कलिकुन्ज मंदिर में 2 हजार, दन्तधवन कुण्ड में 5 हजार, लौहारी पडाइन मंदिर विराजमान ठाकुरजी में 2 हजार, सीय राम जानकी किला लक्ष्मण घाट में 5 हजार, ठाकुर विजय राघव कुंज गोलाघाट में 1500, सुतीक्षण आश्रम अयोध्या में 1 हजार, खडेश्वरी मंदिर में 1500, गुरूद्वारा नजर बाग में 5 हजार व रामलला भवन मंदिर स्वर्गद्वारा में 2 हजार दीप इस तरह 44 स्थानों में कुल 3 लाख 06 हजार दीप प्रज्जलित किये जायेंगे। इसके अलावा 48 विद्यालयों में 48 हजार दीप जलाए जाएंगे।

मंगलवार को प्रभु श्रीराम, लक्ष्मण, भरत तथा शत्रुघ्न  की प्रतिमा निर्माण के लिए आरमेचर के स्वरूप को निर्मित किया गया। सभी स्वरूपों के निर्माण में पैरा, मिट्टी, बालू एवं अन्य सामग्रियों का प्रयोग किया गया हैं। कार्यशाला की आयोजन सचिव सरिता सिंह एवं आशीष प्रजापति ने बताया कि निर्मित मूर्तियां तीन-तीन फिट की होगी। समन्वयक प्रो. विनोद कुमार श्रीवास्तव ने बताया कि घाट संख्या-10 पर राम कथा आधारित पांच-पांच छोटे ब्लाकों के साथ एक भव्य बड़ी रंगोली का निर्माण फूलों के  द्वारा किया जाएगा।
बाराबंकी जिले के बाबा जगजीवन दास धाम द्वारा स्थापित चार पावा 14 गद्दी में मवई का हरचनपुर धाम द्वितीय गद्दी के महंत बाबा उदयराम दास की तपोस्थली पर दीपावली के दो दिन पूर्व दीपोत्सव का आयोजन होगा। गद्दी के महंत अशोक दास ने बताया कि 21 अक्तृबर को धाम को 11 हजार दीपों से सजाया जाएगा। जिसकी तैयारी की जा रही है। कार्यक्रम में क्षेत्रीय विधायक रामचंद्र यादव, ब्लॉक प्रमुख राजीव तिवारी, अमौनी धाम के महंत सत्यभारती, बाबा बेदमुनि व अन्य को आमंत्रित किया गया है।

अयोध्या की दीपोत्सव में भव्यता का आकार हर बार बड़ा होता जा रहा है। यही वजह है कि इस बार बीते साल के मुकाबले न केवल अधिक दीपक जलाए जाएंगे। बल्कि राष्ट्रीय अन्तर्राष्ट्रीय स्तर की सांस्कृतिक कलाओं का दर्शन भी अयोध्यावासी देख सकेंगे। दुनिया के दस देशों में किस तरह रामलीला का आयोजन होता है, यह वहीं के कलाकारों के माध्यम से अयोध्या में दिखाई देगा।

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