कल्याणकारी योजनाओं का लाभ हर व्यक्ति तक पूरी ईमानदारी से पहुंचना ही रामराज्य है-सीएम योगी

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गांव के विकास से आगे बढ़ेगा देश

आजादी के बाद भी न्याय नहीं मिला था वनटांगियों, मुसहरों को

ब्यूरो

गोरखपुर।  सीएम योगी ने दीपावली पर गोरखपुर को करोड़ों की सौगात देते हुए कहा कि कल्याणकारी योजनाओं का लाभ हर व्यक्ति तक पूरी ईमानदारी से पहुंचना ही रामराज्य है। केंद्र व राज्य की डबल इंजन की सरकार बिना भेदभाव के समाज के अंतिम पायदान पर बैठे व्यक्ति तक शासन की योजनाओं का लाभ पहुंचा रही है। संवेदना और सुविधाएं एक साथ लोगों तक पहुंचाना रामराज्य का मूल तत्व है। सोमवार पूर्वाह्न करीब सवा 11 बजे वनग्राम जंगल तिकोनिया नम्बर तीन पहुंचे मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने जिले की ग्राम पंचायतों के लिए 80 करोड़ रुपये के 288 विकास कार्यों का शिलान्यास व लोकार्पण किया। इस मौके पर उन्होंने कहा कि पिछले आठ साल से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में देश के हर गरीब, किसान, महिला, नौजवान तक शासन की योजनाओं का लाभ बिना भेदभाव पहुंच रहा है।

10 करोड़ गरीबों के शौचालय बनना, 4 करोड़ गरीबों के घर मुफ्त बिजली कनेक्शन, 3 करोड़ को पीएम आवास, 8 करोड़ को मुफ्त रसोई गैस कनेक्शन, 80 करोड़ लोगों को मुफ्त राशन, 60 करोड़ लोगों को आयुष्मान भारत योजना के तहत पांच लाख रुपये के स्वास्थ्य बीमा का आच्छादन और 200 करोड़ से अधिक कोरोना वैक्सीन लगना जनकल्याण की अभूतपूर्व कामयाबी है।मुख्यमंत्री ने कहा कि बिना भेदभाव सब तक योजनाओं का लाभ पहुंचे और दुख के लिए कोई जगह न हो, यही रामराज्य है। इसी के अनुरूप सरकार संवेदनशीलता के साथ समरस समाज की स्थापना का संकल्प लेकर आगे बढ़ रही है।

समग्र विकास की धारणा तथा लोक कल्याण का मार्ग प्रशस्त कर रही है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के कथन का स्मरण करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि दीपावली की सार्थकता तभी है जब गरीब के घर भी दीया जले। प्रदेश सरकार इसी मंत्र के अनुरूप कार्य कर रही है।योगी ने कहा कि ग्रामीण अर्थव्यवस्था ही भारत की वास्तविक अर्थव्यवस्था है। गांव की अर्थव्यवस्था देश के स्वावलंबन का आधार बनती है। गांव मजबूत होंगे तो समाज स्वावलंबी बनेगा। गांव विकसित होंगे तो जनपद, प्रदेश और देश भी विकास के पथ पर नजर आएंगे। गांव में बुनियादी सुविधाओं का लाभ होगा तो समाज का हर तबका लाभान्वित होगा।

राजस्व गांव घोषित करने से लेकर जमीनों का पट्टा देने के साथ ही ससम्मान जीवन यापन की व्यवस्था करने की भी पहल सरकार की तरफ से की गई। वर्ष 1998 में पहली बार सांसद बनने के साथ ही योगी का वनटांगियां समुदाय के साथ जुड़ाव शुरू हो गया था। वनटांगिया समुदाय को मुख्य धारा में शामिल कराने के लिए उन्‍होंने लंबा संघर्ष किया। इस बीच वनटांगिया उनके इतने करीब आ गए कि 2009 से वह अपनी हर दिवाली वनग्राम में ही मनाने लगे। 2017 में मुख्यमंत्री बनने के बाद भी यह सिलसिला जारी है।

 

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