कमांडेंट: क्यों ना बीच से उसे हटा दें, हमेशा के लिये,जो बार-बार हमलोगों को डिस्टर्ब कर रहा है…। क्या ये पारिवारिक मामला है?

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कमांडेंट मनीष दूबे,ज्योति मौर्या की मर्डर प्लानिंग : आलोक मौर्या को जान से मारने की योजना क्या ‘पारिवारिक मामला’ है ?

‘द संडे व्यूज़’ करता है देशवासियों से सवाल:

नीचे मैं तीन प्वाइंट दे रहा हूं,आप लोग बतायें क्या ये पारिवारिक मामला लग रहा है?

1. कमांडेंट: क्यों ना बीच से उसे हटा दें, हमेशा के लिये,जो बार-बार हमलोगों को डिस्टर्ब कर रहा है…। क्या ये पारिवारिक मामला है ?

2. ज्योति मौर्या: आलोक को ? 3.कमांडेंट: कहानी ही खत्म कर दें उनकी… ज्योति मौर्या: सही कह रहे हैं ? कमांडेंट के व्हाटसअप पर मर्डर मिस्ट्री का ‘द संडे व्यूज़’ नहीं करता खुलासा तो आलोक के साथ हो सकती थी बड़ी अनहोनी!

डीजीपी ने कमांडेंट मनीष दूबे की चैटिंग को लिया गंभीरता से लेकिन नहीं हुयी कार्रवाई

 

  संजय पुरबिया

लखनऊ। होमगार्ड विभाग को पूरे देश में शर्मशार करने वाले कमांडेंट मनीष दूबे और पीसीएस ज्योति मौर्या के व्हाटसअप पर बनी आलोक मौर्या के ‘मर्डर प्लानिंग’ पर सभी शांत हैंजिसे देखो वही मनीष दूबे और पीसीएस ज्योति मौर्या के बीच चल रहे ‘अवैघ संबंधों’ की बातें चटकारा ले-लेकर कर रहा है। कुछ लोग तो इसे ‘पारिवारिक मामला’ बताकर मामले को दबाने का माहौल बना रहे हैं। जिस रफ्तार से पुलिस विभाग की जांच चल रही है उसे देख यही लग रहा है कि मामले को शांत कर दबाने का ‘कुचक्र’ रचने की पूरी तैयारी हो गयी है। मामला दो अधिकारियों द्वारा एक सरकारी कर्मचारी के हत्या की योजना बनाने का है इसलिये यूपी सरकार की पूरे देश में ‘फजीहत’ हो रही है। येागी राज में माफियाओं को जेल की सलाखों में भेजने की खूब प्रशंसा हुयी लेकिन जिस तरह से होमगार्ड कमांडेंट मनीष दूबे, पीसीएस ज्योति मौर्या के पति आलोक मौर्या की हत्या करने की योजना बना रहा था,यदि द संडे व्यूज़ ने खुलासा नहीं किया होता तो संभवत: आलोक मौर्या के साथ बड़ी अनहोनी हो सकती थी।

‘द संडे व्यूज़’ के खुलासे के बाद इलेक्ट्रानिक चैनल,सोशल मीडिया ने इस खबर को प्रमुखता के साथ उठाया और आज ‘आलोक मौर्या हर घर की आवाज बन गये हैं‘। सभी की नजर मुख्यमंत्री और शासन के अलंबरदारों पर लगी है कि कब हत्या की योजना बनाने वाले दोनों अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई होगी ? फिलहाल मुख्यमंत्री स्तर से डीजीपी स्तर से जांच चल रही है लेकिन अभी तक मनीष दूबे और ज्योति मौर्या के खिलाफ किसी तरह की कार्रवाई नहीं की हुयी है। हां,इतना जरुर हुआ कि होमगार्ड विभाग के डीजी बी.के.मौर्या ने उसका तबादला गाजियाबाद से महोबा कर दिया है। उन्होंने जांच प्रयागराज के डीआईजी,होमगार्ड संतोष कुमार सुचारी को सौंप दी है। डीआईजी ने सभी का बयान ले लिया है। देखना है डीआईजी अपनी जांच रिपोर्ट कितने दिनों में डीजी को सौंपते हैं ? क्योंकि उनकी जांच रिपोर्ट के बाद ही मनीष दूबे पर कार्रवाई तय की जायेगी…। चहुंओर चर्चा जोरों पर है कि इनकी जगह कोई माफिया होता तो अब तक वो जेल की सलाखों में होता और दोनों के घरों पर बाबा का बुलडोजर चल चुका होता लेकिन…। दोनों अधिकारी हैं इसलिये शासन दोनों को बचाने की हर तरह से जुगत लगा रही है। लेकिन ‘द संडे व्यूज़’ शासन से लेकर दोनों विभाग में बैठे सभी अधिकारियों से सवाल करता है कि यदि कमांडेेेंट मनीष दूबे आपलोगों की पत्नी,बेटी के साथ इतना घटिया कृत्य करता तो क्या उस समय भी आपलोग इस पारिवारिक मामला बताकर मामले को शांत करने की कोशिश करते ?

ये ठीक है कि कानूनी तौर पर अब कोई महिला-पुरुष आपसी सहमति से शादी करना चाहते हैं तो उसे स्वीकार करना होगा,चाहें वो महिला शादी-शुदा ही क्यों ना हो…। मनीष दूबे और दो बेटियों की मां ज्योति मौर्या भी एक-दूसरे से शादी करना चाहते हैं,करना भी चाहिये क्योंकि ये किसी गुनाह के दायरे में नहीं आता। लेकिन सबसे अहम् सवाल ये है कि कमांडेंट मनीष दूबे ने पीसीएस ज्याति मौर्या के नंबर पर उनके पति के बारे में लिखा है कि क्यों ना बीच से उसे हटा दें हमेशा के लिये,जो बार-बार हमलोगों को डिस्टर्ब कर रहा है…। इस पर ज्योति मौर्या ने लिखित रुप से जवाब दिया कि आलोक को? मनीष दूबे लिखित जवाब देते है हां…कहानी ही खत्म कर दें उनकी…। फिर ज्योति मौर्या ने लिखित रुप से जवाब भेजा… सही कह रहे हैं…।

 

मेरा सवाल मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से है कि व्हाटसअप पर कमांडेंट मनीष दूबे और पीसीएस ज्योति मौर्या के बीच चल रहे इस चैटिंग का क्या मतलब लगाया जाये ? आखिर दोनों किसे रास्ते से हटाने की बात कर रहे हैं ? आखिर इन दोनों के बीच कौन है जो बार-बार डिस्टर्ब कर रहा है ? आखिर किसकी कहानी खत्म करने की बातें हो रही है ? देखा जाये तो पत्नी और वो के बीच विलेन पति आलोक मौर्या ही तो है ? मुख्यमंत्री जी,फिर आपकी जांबाज पुलिस मर्डर मिस्ट्री एंगल से दोनों का बयान क्यों नहीं ले रही है ?

मुख्यमंत्री जी, 5 जून को ज्योति मौर्या के पति आलोक मौर्या जनता दरबार में आपसे मिलकर अपने ‘जान की भीख’ मांगने आया था। आपके कार्यालय से पुलिस विभाग को स्पष्ट तौर पर लिखा गया था कि गाजियाबाद के कमांडेंट पर लगे गंभीर आरोप की गंभीरता से जांच करा ली जाये एवं शीघ्र अवगत कराया जाये…। आज 5 जुलाई हो गया लेकिन अभी तक  मनीष दूबे के खिलाफ किसी तरह की कार्रवाई नहीं की गयी। मेरा सवाल है कि क्या आपकी सरकार में किसी अधिकारी को इस बात का हकदिया गया है कि वो कमजोर तबके के कर्मचारी का मर्डर कर दे ?

क्या पुलिस ने व्हाटसप में लिखी गयी बातों पर मनीष दूबे और ज्योति मौर्या से सवाल किया? नहीं तो क्यों? बात जो भी हो,जब सरकार,शासन में शीर्ष पर बैठे अधिकारी किसी बेबस,मजलूम की नहीं सुनते तो उनका साथ ईश्वर देता है। आलोक मौर्या की किस्मत बलवती थी कि उसके हाथ मनीष दूबे और ज्योति मौर्या के बीच हुयी चैटिंग उनके हाथ लग गयी और वो द संडे व्यूज़ के आशियाना स्थित कार्यालय पहुंच गये। फिलहाल आलोक मौर्या पूरे देश की आवाज बन चुके हैं और उन्हें इंसाफ दिलाने के लिये पूरी मीडिया भी उनके साथ खड़ी है। शेष अगले अंक में…

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