कोर्ट की फटकार के बाद पदावनत डीआईजी,जेल शैलेन्द्र मैत्रेय को शासन ने फिर बनाया डीआईजी
षडय़ंत्रकारी अधिकारियों के शिकार शैलेन्द्र मैत्रेय फिर बनें डीआईजी,मुख्यालय पर संभाला कार्यभार
ब्यूरो
लखनऊ। उत्तर प्रदेश की जेलों में अपने निष्पक्ष जांच से सुर्खियों में रहें डीआईजी,जेल शैलेन्द्र मैत्रेय को एक षडय़ंत्र के तहत पुराने मामले में आरोपित कर पदावनत कर डीआईजी से जेल अधीक्षक बना दिया गया था। सभी जानते थे कि जिस मामले में इन्हें आरोपित किया गया है,वो इनके कार्यकाल का था ही नहीं लेकिन घुटने ना टेकने और सरकारी नियमावली के तहत अपने कार्यों को अंजाम देने वाले श्री मैत्रेय को कुछ माह तक पदावनत का दंश झेलना पड़ा। शासन स्तर से सुनवायी ना होने पर इन्होंने न्यायालय का दरवाजा खटखटाया। आखिरकार समस्त दस्तावेजों को देखने-परखने के बाद न्यायालय ने शैलेन्द्र मैत्रेय को पुन: डीआईजी के पद पर बनाये जाने का निर्देश जारी किया।
इस पर प्रमुख सचिव,कारागार राजेश कुमार ने 1 अगस्त 2023 को पत्र जारी कर शैलेन्द्र मैत्रेय को पुन: डी आई जी, कारागार के पद पर बहाल किया। श्री मैत्रेय ने मुख्यालय पर कार्यभार ग्रहण कर लिया है। प्रमुख सचिव ने अपने पत्र में लिखा है कि 28 फरवरी 2023 द्वारा शैलेन्द्र मैत्रेय को तात्कालिक प्रभाव से उप महानिरीक्षक कारागार के पद से वरिष्ठï अधीक्षक कारागार श्रेणी-2 के पद पर पदावनत किये जाने संबंधित उक्त आदेश को स्थगित रखते हुये उच्च न्यायालय द्वारा रिट याचिका संख्या ए-5461-2023 शैलेन्द्र कुमार मैत्रेय बनाम उ.प्र. राज्य व अन्य में पारित होने वाले अंतिम आदेश के अधीन शैलेन्द्र कुमार मैत्रेय को तात्कालिक प्रभाव से उप महानिरीक्षक कारागार के पद पर कार्यभार ग्रहण कराये जाने की राज्यपाल आदेश प्रदान करते हैं। श्री मैत्रेय की उप महानिरीक्षक,कारागार के पद पर तैनाती-पदस्थापना के संबंध में अलग से निर्णय लिया जायेगा।